तेरे आने से ही बहारों में महक आती है

Takehiro Kanegi

तेरे आने से ही बहारों में महक आती है।

तेरे आने से ही, तारों में चमक आती है।।

अब तो पायलें भी, गुमां नही करती खुद पे।

क्योंकि तेरे आने से ही, उसमे छनक आती है।।

ये वादियां, ये फिजायें ढूँढती हैं तुझे ।

ये मौसम, ये सर्द हवाएं, ढूँढती हैं तुझे।।

तू खुशबू है, नूर है, दिल का कमल है ।

तू नज्म है, गीत है, अनसुनी गजल है ।।

मिलती है जब भी, सासों में दहक आती हैं।

तेरे आने से ही, तारों में……
तेरे आने का अब भी इंतजार करता हूं।

कैसे कह दूं मैं तुझे, कितना प्यार करता हूं।।

चैन भी आता नही,  नींद भी नही आती है।

याद आती तेरी, ये आंख भी छलक जाती है।।

तेरे आने से ही तारों में………………………..

2 thoughts on “तेरे आने से ही बहारों में महक आती है”

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